भारत दौरे पर आए ब्रिटिश प्रधानमंत्री डेविड कैमरन आज अमृतसर में जलियावाला बाग पहुंचे. कैमरन ने यहां पर शहीदों को श्रद्धांजलि दी और कहा कि 1919 की घटना वाकई एक शर्मनाक घटना थी.
साल 1919 में ब्रिटिश सिपाहियो की गोली के सैकड़ों लोग शिकार हो गए थे. जलियावाला बाग में एक सभा चल रही थी. उसी दौरान निहत्थे लोगों पर जनरल डायर ने गोली चलवा दी थी. इसमें सैकड़ों बेगुनाह मारे गए थे.
अंगरेजों के इस क्रूरतापूर्ण कार्रवाई ने पूरे देश को हिला कर रख दिया था. उसके ब्रिटिश हुकूमत के खिलाफ देश में विरोध बेहद तेज हो गया था. अब 94 साल बाद ब्रिटिश प्रधानमंत्री जलियावाला बाग पहुंचे और सिर झुका कर शहीदों को श्रद्धांजलि दी है. उन्होंने विजिटर बुक में लिखा जलियावाला बाग की घटना बेहद शर्मनाक थी.
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने मंगलवार को कई मुद्दों पर चर्चा की और नागरिक परमाणु सहयोग तथा व्यापार बढ़ाने के मुद्दे पर वार्ता शुरू करने का फैसला किया. कैमरन तीन दिनों की यात्रा पर भारत आए हैं. उनके साथ 100 सदस्य प्रतिनिधिमंडल भी आया है.
साल 1919 में ब्रिटिश सिपाहियो की गोली के सैकड़ों लोग शिकार हो गए थे. जलियावाला बाग में एक सभा चल रही थी. उसी दौरान निहत्थे लोगों पर जनरल डायर ने गोली चलवा दी थी. इसमें सैकड़ों बेगुनाह मारे गए थे.
अंगरेजों के इस क्रूरतापूर्ण कार्रवाई ने पूरे देश को हिला कर रख दिया था. उसके ब्रिटिश हुकूमत के खिलाफ देश में विरोध बेहद तेज हो गया था. अब 94 साल बाद ब्रिटिश प्रधानमंत्री जलियावाला बाग पहुंचे और सिर झुका कर शहीदों को श्रद्धांजलि दी है. उन्होंने विजिटर बुक में लिखा जलियावाला बाग की घटना बेहद शर्मनाक थी.
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने मंगलवार को कई मुद्दों पर चर्चा की और नागरिक परमाणु सहयोग तथा व्यापार बढ़ाने के मुद्दे पर वार्ता शुरू करने का फैसला किया. कैमरन तीन दिनों की यात्रा पर भारत आए हैं. उनके साथ 100 सदस्य प्रतिनिधिमंडल भी आया है.
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